Tuesday, 24 January 2017

आज़ादी के परवाने (freedom fighter - completed 67th republic day)


१) महात्मा गाँधी ;-जन्म २ अक्टूबर -गुजरात , शिक्षा विदेश से वकालत , अहिंसा से अत्याचार का सामना कर , देश के अधिकार और हित  के लिए , यहाँ की गरीबी देख खुले कुटिया में रहना , व वस्त्र त्याग कर व अंग्रेजो का सामना कर बातो व ज्ञान से सत्याग्रह जैसे आंदोलनों से भारत को  आज़ादी दिलाई शहादत ७८ की उम्र में हिन्दू आतंकी द्वारा  गोली मार देने से परम धाम सिधार गए । 

२) नेताजी सुभाष चंद्र बोस ;- जन्म २३ जनवरी १८९७  - बंगाल में , मेधावी छात्र व गाँधी जी से प्रभावित देशभक्ति की वजह से ब्रिटिश सरकार  की ics (indian civil service ) की ऊँची नौकरी छोड़ दी व आज़ाद हिन्द फौज की स्थापना की , जय हिन्द और तुम मुझे खून दो मैं तुम्हे आज़ादी दुगा  का नारा दिया , अंग्रेज़ो को नाको चने चबवा दिए , ओजपूर्ण भाषण की वजह से अंग्रेजो की निगाह में आ गए उस वक़्त अविभाजित भारत के अतिरिक्त अंग्रेजी प्रभुत्व और जांच एजेंसी के साथ ,सात देशो की पुलिस इन्हें मार देना चाहती थी , इसी कारन इन्हें भेष बदल कर भागते रहना जीना पड  रहा था , यही कारन है की लोग उन्हें आज़ादी बाद भी कही भेष बदल कर या हमशक्ल रूप में जिन्दा रहने की बात करते रहते थे , अगस्त १९४५ ,  ४८ वर्ष की उम्र में जापान के हवाई दुर्धटना में थर्ड डिग्री बर्न में मारे जाने की खबर । 

३) भगत सिंह ;-जन्म २८ सितम्बर -पंजाब उच्च शिक्षित ,देश के प्रति पूर्णतः समर्पण जलीया वाला बाग़ हिंसा से आहत  होकर क्रांति जगाना इनका लक्ष्य था इन्होंने जेल में २ साल आंदोलन किया व काफी दुःख उठाये इन्हें मात्र २३ साल की उम्र में इनके साथियो राजगुरु २२ वर्ष व सुखदेव २३ वर्ष सहित फांसी दे दी गयी । 



४)चंद्रशेखर आज़ाद ;- जन्म २३ जुलाई -मध्यप्रदेश १६  वर्ष की आयु में ही देश प्रेरणा , १६ वर्ष की आयु में आंदोलन में पकडे जाने पर १५ बेत मारने की सजा मिली , क्रांति पथ पर अग्रसर रहे , भगत सिंह , राजगुरु , सुखदेव को फांसी से बचाने की नेहरू जी से मिलकर बहुत प्रयन्त किया , वहा  से निकलते ही इलाहबाद के अल्फ्रेड पार्क में अंग्रेजी पुलिस ने इन्हें घेर लिया गोलीबारी में इन्होंने २४ वर्ष की आयु में स्वयं को वीर गति दे दी । 
५) खुदी राम बोस ;- जन्म ३ दिसम्बर- बंगाल , भगत सिंह ,चंद्रशेखर की तरह क्रन्तिकारी १९ वर्ष की आयु में इन्हें अंग्रेजी हुकूमत द्वारा फांसी दे दी गयी , जो उम्र में सबसे कम उम्र के क्रन्तिकारी है । 

६) लाल लाजपत राय ;- जन्म २८ जनवरी -पंजाब , इन्हें पंजाब केसरी भी कहते है , गरम दल , लाल ,बाल, पाल में से एक, साइमन कमीशन के विरुद्ध प्रदर्शन में अंग्रेजी हुकूमत के लाठी चार्ज में ६३ वर्ष की आयु में मौत , इनकी मौत का बदला भगत सिंह , राजगुरु , सुखदेव ने  अंग्रेजी जनरल सांडर्स को गोली से उडा कर लिया । 

७) राम प्रसाद विस्मिल ;-जन्म 19 दिसम्बर -उत्तर प्रदेश , एक  कवि , शायर , अनुवादक , क्रन्तिकारी इनकी लिखी पुस्तके अंग्रेजी हुकूमत जब्त कर लेती थी , ११ ही प्रकाशित हो सकी  , भगत सिंह का गीत मेरा रंग दे बसंती चोला इन्ही की रचना थी , चंद्रशेखर आज़ाद के साथी , काकोरी कांड में ट्रेन खज़ाना डकैती में ३० वर्ष की उम्र में अंग्रेजी सरकर  ने साथ में इनके मित्र लेखक व सायर असफाकउल्ला खान उम्र २७ साल दोनों को साथ में फांसी दे दी गयी ।

 
इसी तरह ;- , रानी लक्ष्मी बाई , मंगल पांडेय , राजेंद्र प्रसाद , सरदार पटेल, बहादुर शाह जफ़र, बाबा साहब अम्बेडकर  ,सरोजिनी नायडू , हैदर अली , उनके पुत्र टीपू , बालगंगा धर तिलक , आदि लोगो का  भी अहम् योगदान है  । 
आज भारत सरकार द्वारा  आज इनके परिवार या बच्चो की कोई खोज खबर नहीं है । 
लेखक;- हार्दिक नमन और श्रधांजलि के साथ____ रविकान्त यादव for more click me ;-https://www.facebook.com/ravikantyadava
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